खगड़िया(श्रवण आकाश)।
जिले के परबत्ता प्रखंड अंतर्गत सियादतपुर अगुवानी पंचायत के डुमरिया बुजुर्ग गांव निवासी नारद चौधरी व स्वर्गीय सीता देवी के पुत्र सह थलसेना के जवान अंकेश चौधरी की जम्मू कश्मीर में आकस्मिक निधन के उपरांत गुरुवार के दोपहर में उनका पार्थिव शरीर उनके आवास पर लाया गया।इसके पूर्व पूरे मार्ग में लोगों द्वारा ‘भारत माता की जय’और ‘शहीद अंकेश चौधरी अमर रहें’ का नारा बुलंद किया जाता रहा।उसके बाद आज गुरुवार को उनका अंतिम संस्कार राजकीय सैनिक सम्मान के साथ बहुचर्चित उत्तरवाहिनी अगुआनी गंगा घाट पर किया गया।हालांकि सुबह से ही विभिन्न गांव से काफी संख्या में लोग भी ट्रैक्टर व ट्राॅली से पसराहा,मड़ैया बाजार, परबत्ता बाजार,सिराजपुर, श्रीरामपुर ठूठ्ठी,डुमरिया बुजुर्ग,अगुवानी बस स्टैंड पर खड़े हो गए थे।
तिरंगा लगे वाहनों के लंबे काफिले के साथ खगड़िया के लाल शहीद अंकेश चौधरी का पार्थिव शरीर डुमरिया बुजुर्ग गांव से अगुवानी गंगा घाट ले जाया गया।इस दौरान ‘जब तक सूरज चांद रहेगा,अंकेश तुम्हारा नाम रहेगा’ और ‘वंदे मातरम’के नारे लगाए गए।वहीं गांव की महिलाएं अपने-अपने घरों की छत पर पहुंच गई और शहीद जवान के पार्थिव शरीर पर पुष्प वर्षा की।
थलसेना के जवान अंकेश चौधरी का पार्थिव शरीर डुमरिया बुजुर्ग स्थित उनके आवास पर पहुंचते ही दोनों पुत्रियों व पुत्र समेत बहनों आदि परिजनों और रिश्तेदार अंतिम दर्शन कर चित्कार कर खूब रोए।जिसे देखकर मौजूद लोगों की भी आंखों से पानी टपक रहे थे।
इसके पश्चात बहुचर्चित उत्तरवाहिनी अगुआनी गंगा घाट पर राजकीय सैनिक सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया।दिवंगत हवलदार के पुत्र आरभ कुमार द्वारा अपने पिता को मुखाग्नि दी गई और वह पंचतत्व में विलीन हो गए।
दिवंगत थल सेना के हवलदार अंकेश चौधरी माता-पिता के ज्येष्ठ पुत्र थे।वह जम्मू कश्मीर के 63 आरआर राजौरी में थलसेना हवलदार के रुप में पदस्थापित थे।वह वर्ष 2003 में कटिहार बीआरओ से सेना में भर्ती हुए थे।बीते 2007 में भागलपुर जिला के नवगछिया अनुमंडल के बिहपुर थाना क्षेत्र के सोनबरसा गांव की प्रिया कुमारी के साथ उनका विवाह हुआ था।वह दो पुत्रियां और एक पुत्र को छोड़ गए हैं।उनकी 14 वर्षीया बड़ी पुत्री अदिति,11 वर्षीया छोटी बेटी भव्या और सबसे छोटे पुत्र 7 वर्षीय आरव कुमार के साथ-साथ तीनों बहनें यथा ममता कुमारी,वंदना कुमारी और वीणा कुमारी समेत सभी परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है।
(भारतीय सेना के दिवंगत हवलदार के पार्थिव शरीर का दर्शन पाने को ले उमड़ती रही भीड़)
सेना के अस्पताल में अंतिम सांस लेने वाले हवलदार अंकेश चौधरी के छोटे भाई अंकुर कुमार चौधरी भी बीएसएफ में हजारीबाग में पदस्थापित हैं।वह अपने बड़े भाई के निधन की खबर सुनकर हजारीबाग से पैतृक गांव पहुंचे।उन्होंने बताया कि,उनके बड़े भाई अंकेश चौधरी बीते लगभग एक माह से बीमार चल रहे थे तथा उद्धमपुर के कमांड अस्पताल में भर्ती थे।मंगलवार को अस्पताल में ही इलाज के दौरान उनका निधन हो गया।हवलदार अंकेश कुमार चौधरी का पूरा परिवार अंबाला में रहता है।उनके निधन की खबर सुनते ही क्षेत्र में शोक की लहर व्याप्त है।आज सुबह से ही जवान अंकेश चौधरी के घर पर ग्रामीणों की भीड़ जुटी थी और हर शख्स शोक संतप्त परिवार के साथ खड़ा था।वहीं ग्रामीण रजनीश चौधरी,त्रिपुरारी सिंह,गाइनु चौधरी, मुखिया स्मृति कुमारी, बीएसएफ जवान अनिल चौधरी,हरिश कुमार,सतीश मिश्रा,हरिनंदन मिश्रा, समाजिक कार्यकर्ता श्रवण आकाश आदि ने बताया कि, अंकेश चौधरी देश का जाबांज बेटा था।वह अपने कर्म पथ पर शहीद होकर वीर गति को प्राप्त किया।शोकाकुल परिवार को ईश्वर दु:ख सहने की शक्ति प्रदान करें।
बताया कि,वह अपने गांव से जम्मू कश्मीर में ड्यूटी पर गए थे।वह जब भी गांव आते थे,तो हम सभी युवाओं से प्रेम व मित्रतापूर्वक अवश्य मिलते थे।
पूर्व मंत्री आरएन सिंह,सांसद प्रतिनिधि आदित्य कुमार शौर्य उर्फ बाबूलाल शौर्य,संतोष भारद्वाज,राजीव कुमर समेत दर्जनों की संख्याओं में पुलिस बल और हजारों हजार की संख्या में ग्रामीणों का जमावड़ा शहीद अंकेश चौधरी के अंतिम दर्शन को उमड़ी लग गया था।इधर,पूर्व मंत्री रामानंद प्रसाद सिंह उर्फ
आरएनसिंह ने कहा कि, भारतीय थल सेना के जवान अंकेश चौधरी के निधन की घटना बहुत दुःखद है।उन्होने मां भारती के लाल को उनके पैतृक गांव डुमरिया बुजुर्ग में श्रद्धांजलि अर्पित किया और भगवान से उनकी आत्मा को शांति एवं अपने श्रीचरणों में स्थान दें,यही प्रार्थना की है।दूसरी तरफ परबत्ता के जदयू विधायक डॉक्टर संजीव कुमार ने कहा कि,उनका निधन अत्यंत दु:खद, दुर्भाग्यपूर्ण व हृदयविदारक है।यह हम सभी के लिए एक अपूरणीय क्षति है।मेरी संवेदनाएं शोकाकुल परिजनों के साथ है।ईश्वर दिवंगत आत्मा को शन्ति दें और परिजनों को इस विपरित परिस्थिति में बल प्रदान करें।सांसद प्रतिनिधि आदित्य कुमार शौर्य उर्फ बाबूलाल शौर्य ने कहा कि,सेना के जवान जब भी शहीद होते हैं, वह सबको दर्द दे जाते हैं।सेना के जवान इस देश की आन बान और शान होते हैं।उनकी क्षति देश की क्षति है।जवानों के मृत्यु की घटना बहुत दुःखद है।भगवान उनकी आत्मा को शांति एवं अपने श्रीचरणों में स्थान दें,यही प्रार्थना है।उन्होंने कहा कि, अगुवानी की धरती धन्य है। हर एक वीर सपूतों का अंतिम दर्शन करने का सौभाग्य प्राप्त होता है।मौके पर परबत्ता बीडीओ अखिलेश कुमार,परबत्ता थानाध्यक्ष धर्मेंद्र कुमार पाल,एलटीएफ प्रभारी रणधीर कुमार समेत विभिन्न राजनीतिक दलों के नेतागण और पदाधिकारीगण समेत हजारों लोग उपस्थित थे।