रेशु रंजन/खगड़िया
जिले के बेलदौर थाना क्षेत्र से अपहृत बताए जा रहे महज तीन वर्षीय बालक सिद्धांत कुमार को तीन दिनों बाद भी पुलिस बरामद नहीं कर सकी है।चार लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ किए जाने के बाद परिजनों में उसके बरामदगी की आस जगी थी, लेकिन उसका अब तक कोई सुराग नहीं मिलने से सवाल यह उठ रहा है कि अपहृत बताए जा रहे सिद्धांत को धरती निगल गयी या आसमां उड़ा ले गया!सवाल यह भी उठ रहा है कि सिद्धांत सलामत है भी या नहीं!और अगर सलामत है तो कहां है!तीन दिनों से सिद्धांत के मिलने की आस में आंख पथराए परिजनों द्वारा लगातार उसके बरामदगी की गुहार लगायी जा रही है।पुलिस हरसंभव प्रयास का भरोसा तो दे रही है,बावजूद इसके पुलिस के हाथ अब भी खाली नजर आ रहे हैं।
बताया जा रहा है कि,बीते शनिवार की रात्रि दंदरोजा गांव निवासी विलास शर्मा की पत्नी रेणु देवी अपने तीन वर्षीय पोते को साथ लेकर बघरा जाने वाली प्रधानमंत्री ग्रामीण पथ के किनारे शौच करने गयी थी।साथ में गांव की तीन अन्य महिलाएं भी थी।रेणु देवी गांव की अन्य महिलाओं के साथ सड़क किनारे शौच कर ही रही थी कि दंदरोजा गांव की ओर से आए दो बाइक पर सवार पांच युवकों ने दो चक्र हवाई फायरिंग करते हुए सिद्धांत को उठा लिया और उसे मोटरसाइकिल पर बिठाकर लेकर चलते बने।अपहृत बताए जा रहे सिद्धांत की दादी का कहना है कि इसके पूर्व मोटरसाइकिल सवार युवक बघरा गांव की ओर से दंदरोजा के तरफ गए थे।फिर कुछ ही क्षणों बाद लौटकर इस तरह की घटना को अंजाम दे दिया।
रेणु देवी द्वारा दिए गए आवेदन के आलोक में प्राथमिकी दर्ज करते हुए बेलदौर पुलिस ने परिजन समेत चार व्यक्तियों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था।लेकिन तीन दिन बीत जाने के बाद भी बेलदौर पुलिस सिद्धांत का पता नहीं लग पायी है।
इधर स्थानीय लोगों का कहना है कि सिद्धांत की बरामदगी को लेकर पुलिस कितनी गंभीर है,यह तो उसकी बरामदगी के बाद ही स्पष्ट हो सकेगा!लेकिन बीते 9 दिसम्बर 2022 को अपराधियों द्वारा अपहृत किए गए डाढ़ी गांव निवासी पांडव यादव के 10 वर्षीय पुत्र के मामले में भी पुलिस की सुस्त चाल सबके सामने है।करीब आठ माह पूर्व घटित इस मामले में परिजनों द्वारा गांव के ही अपराधियों के विरुद्ध घटना को अंजाम देने का आरोप लगाया गया था।उक्त बालक को भी बेलदौर पुलिस खोज नहीं पायी है।चौक चौराहों पर ग्रामीणों द्वारा कहा जा रहा है कि बेलदौर पुलिस अगर मामले को गंभीरता से नहीं लेंगी तो क्या 3 वर्षीय बालक का सुराग मिल सकेगा!बहरहाल, पुलिस महकमे में काफी भरोसेमंद कहे जाने वाले थानेदार परेन्द्र कुमार इस मामले में कब तक सफलता अर्जित कर पाते हैं,इस पर सबकी नजर है।।